सोमवार को जेरूसलम में एक भयंकर आतंकवादी हमले में छह निर्दोष नागरिकों की मौत हो गई और 12 अन्य घायल हुए। इस हमले की कड़ी निंदा करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि भारत आतंकवाद के प्रति अपनी शून्य-सहन नीति में अडिग है।
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने आधिकारिक X (पूर्व ट्विटर) अकाउंट पर लिखा:
“आज जेरूसलम में निर्दोष नागरिकों पर हुए बर्बर आतंकवादी हमले की कड़ी निंदा करता हूं। मृतकों के परिवारों के प्रति संवेदनाएं प्रकट करता हूं और घायल लोगों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं। भारत सभी रूपों और प्रकार के आतंकवाद की निंदा करता है और अपनी शून्य-सहन नीति में दृढ़ है।”
(स्रोत: Narendra Modi Official X)
हमले का घटनाक्रम
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स्थान: रामोट जंक्शन, उत्तर जेरूसलम, जो एक व्यस्त बस स्टॉप और मुख्य चौराहे के पास स्थित है।
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घटना का समय: सोमवार की सुबह, स्थानीय समयानुसार 10:00 बजे के आसपास।
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हमलावर: दो फिलिस्तीनी आतंकवादी, जो घटनास्थल पर मारे गए।
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प्रभाव: 6 लोगों की मौत, 12 घायल।
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घायल स्थिति: सात घायल गंभीर अवस्था में, जिन्हें स्थानीय अस्पतालों में भर्ती कराया गया।
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पुलिस और बचाव: इज़राइल पुलिस और Magen David Adom (MDA) आपातकालीन सेवाओं ने घटनास्थल पर तुरंत कार्रवाई की।
स्थानीय मीडिया के अनुसार मृतकों में चार अल्ट्रा-ऑर्थोडॉक्स इज़राइली पुरुष शामिल हैं।
पुलिस के बयान के अनुसार, आतंकवादियों ने एक वाहन से पहुंचकर बस स्टॉप पर गोलीबारी शुरू की। एक सुरक्षा अधिकारी और एक आम नागरिक ने तत्काल जवाबी कार्रवाई की और दोनों आतंकवादियों को निष्क्रिय कर दिया।
इज़राइली नेतृत्व की प्रतिक्रिया
इज़राइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा:
“ये हत्याएं हमारे आतंकवाद विरोधी अभियान को और मजबूत करती हैं। हम आतंकवादियों के गांवों को घेर रहे हैं और जो भी उनकी सहायता करेगा, उसे कड़ी कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा।”
इज़राइली सेना ने पश्चिमी तट के रामल्लाह के आसपास कई क्षेत्रों को घेरने की जानकारी दी। यह कदम आतंकवादी नेटवर्क और उनके सहयोगियों की पहचान और उन्हें पकड़ने के लिए उठाया गया।
हमले की जिम्मेदारी और राजनीतिक प्रतिक्रियाएं
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हमास: फिलिस्तीनी आतंकी संगठन हमास ने हमले की जिम्मेदारी ली और कहा कि यह “इज़राइल के अत्याचार और हमारे लोगों पर हो रहे नरसंहार का प्रतिकार” था। हमास गाजा पट्टी में इज़राइल के साथ लगभग दो वर्षों से संघर्ष में है।
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इज़राइल की प्रतिक्रिया: कट्टरपंथी वित्त मंत्री बेज़ेल एल स्मोट्रिच ने फिलिस्तीनी प्राधिकरण को जिम्मेदार ठहराया और कहा कि “फिलिस्तीनी प्राधिकरण को मानचित्र से हटाया जाना चाहिए और आतंकवादियों के गांवों को गाजा की राफाह और बीत हनून जैसी स्थिति में लाया जाना चाहिए।”
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फिलिस्तीनी प्राधिकरण: यह पश्चिमी तट में नागरिक शासन करता है, जहां लगभग 30 लाख फिलिस्तीनी रहते हैं, साथ ही लगभग 5 लाख इज़राइलियों द्वारा अतिक्रमण किए गए अवैध कॉलोनियों में निवास करते हैं।
हमले का मानवीय प्रभाव
स्थानीय पैरामेडिक फादी डेकाइडे़क ने बताया:
“घायल लोग बस स्टॉप के पास सड़क और फुटपाथ पर पड़े थे, कुछ बेहोश। यह दृश्य अत्यंत भयानक था।”
घायल नागरिकों में कई लोग गंभीर स्थिति में अस्पताल ले जाए गए। यह हमला इज़राइल में आतंकवादी हिंसा की घटनाओं में सबसे गंभीरों में से एक माना जा रहा है।
पृष्ठभूमि और सांख्यिकी
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अक्टूबर 2023 में हमास के हमले के बाद इज़राइल ने गाजा में जवाबी कार्रवाई की थी। उस हमले में 1,219 लोग मारे गए थे, जिनमें अधिकांश नागरिक थे।
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इज़राइल की जवाबी कार्रवाई में गाजा में कम से कम 64,522 फिलिस्तीनी मारे गए, जिनमें अधिकांश नागरिक थे। (स्रोत: AFP, PTI, MDA, इज़राइल पुलिस)
यह हमला वर्तमान गाजा संघर्ष और इज़राइल-फिलिस्तीन विवाद के संदर्भ में गंभीर सुरक्षा चुनौती प्रस्तुत करता है।
निष्कर्ष
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जेरूसलम हमले में 6 लोगों की मौत और 12 घायल।
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हमास ने हमले की जिम्मेदारी ली।
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इज़राइल ने आतंकवादियों को निष्क्रिय कर कार्रवाई शुरू की।
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प्रधानमंत्री मोदी ने भारत की शून्य-सहन नीति की पुष्टि की और आतंकवाद की कड़ी निंदा की।